यह संस्थान पिछले कई वर्षों से नगरीय विकास कर और बकाया गृहकर नहीं चुका रहे। नगर निगम ने नगर पालिका अधिनियम 2009 के तहत इन्हें धारा 149 के अन्तर्गत नोटिस जारी किए हैं। नोटिस में यह भी उल्लेख किया है कि अगर अब भी इस मामले में लापरवाही बरती गई तो 40 दिन के बाद इनके खिलाफ सीलिंग की कार्रवाही भी हो सकती है।
गुरुवार, 7 मई 2009
फीस में मनमानी, कर में आनाकानी
जयपुर। राजस्थान में समाजसेवा की ओट में निजी स्कूल संचालित कर मनमानी फीस वसूल रहे करीब 200 संस्थानों को सरकार ने बकाया गृहकर और विकास शुल्क जमा करने के नोटिस जारी किए हैं। बकाया रकम करोंड़ों रुपये में है। इनमें ज्यादातर वह संस्थान शामिल हैं जो पिछले दिनों बच्चों के अभिभावकों से मनमानी फीस वसूलने के मामले में चर्चा में चल रहे हैं।
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9 टिप्पणियां:
bahut badia laga
swagat blog per
अपना इतना बकाया रखा है और एक महीने फी नहीं मिलने पर बच्चों को स्कूल् से निकाल दिया जाता है।
aadar aur snehsahit swagat hai...
"Aayiye haath uthayen hambhi,
Ham jinhen rasmo duaa yaad nahee,
Rasme muhobbatke siwaa koyi but koyee khudaa yaad nahee..."
Itnaahee kahungee,ke ab yahee samaykee darkaar hai..
snehadar sahit
shama
हिंदी ब्लॉग की दुनिया में आपका तहेदिल से स्वागत है....
narayan narayan
बहुत सुन्दर लिखा है। बधाई स्वीकारें। मेरे ब्लोग पर आने की जहमत उठाएं। शुभकामनाएं।
बहुत सुंदर…..आपके इस सुंदर से चिटठे के साथ आपका ब्लाग जगत में स्वागत है…..आशा है , आप अपनी प्रतिभा से हिन्दी चिटठा जगत को समृद्ध करने और हिन्दी पाठको को ज्ञान बांटने के साथ साथ खुद भी सफलता प्राप्त करेंगे …..हमारी शुभकामनाएं आपके साथ हैं।
बहुत अच्छा लिखा है . मेरा भी साईट देखे और टिप्पणी दे
वर्ड वेरीफिकेशन हटा दे . इसके लिये तरीका देखे यहा
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badhai ho bhai, achhi rachna....
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